The Hindu Temple

Pashan Devi Temple: नैनीताल की शांत वादियों में बसा है चमत्कारी पाषाण देवी मंदिर, जहाँ हाजिरी लगाने से दूर हो जाती है हकलाने की पीड़ा

Pashan Devi Temple: देश में लगभग हर जगह, दिव्य मंदिरों के संदर्भ मिल जाएँगे। ये मंदिर न केवल रहस्यमय हैं, बल्कि लोग इनसे जुड़े मिथकों और अंधविश्वासों की ओर भी आकर्षित होते हैं। यह क्षेत्र अपने अद्भुत चमत्कारों के लिए और भी प्रसिद्ध है, क्योंकि ऐसा ही एक मंदिर नैनीताल की पहाड़ियों पर स्थित है।

Pashan devi temple
Pashan devi temple

यहाँ हम देवी मंदिर की बात कर रहे हैं, जिसके बारे में कहा जाता है कि यह त्वचा संबंधी सभी रोगियों को ठीक करता है। इसके अलावा, देवी हकलाने की समस्या (stuttering problem) से भी छुटकारा दिला सकती हैं। अगर आप यहाँ आने के लिए उत्सुक हैं, तो आइए हम आपको इस मंदिर के बारे में कुछ और जानकारी देते हैं।

इस मंदिर को इसी नाम से जाना जाता है।

उत्तराखंड को देवताओं की भूमि कहा जाता है, और नैनीताल हिल स्टेशन इसके आकर्षण को और बढ़ा देता है। ऊँचे पहाड़ों में पाषाण देवी का एक जादुई मंदिर है। इस मंदिर का जल अत्यंत पवित्र (The water of the temple is very sacred) माना जाता है और किसी भी त्वचा संबंधी समस्या को ठीक करने में सक्षम है।

दूर होती हैं “वाणी” से संबंधित सभी समस्याएँ

ऐसा कहा जाता है कि जो कोई भी इस पवित्र जल का सेवन करता है, उसे सभी वाणी संबंधी समस्याओं, विशेष रूप से हकलाहट, से मुक्ति मिल जाती है, जो स्थायी रूप से ठीक हो जाती है। मंदिर में इस जल का भंडारण (water storage) और भी बेहतर हो गया है।

यह कौन सी माता है?

देवी भगवती का यह मंदिर, नैनी झील के दृश्य के साथ एक पहाड़ी पर स्थित है। ऐसा कहा जाता है कि देवी यहाँ साक्षात निवास करती हैं और मंदिर के भीतर स्थापित एक प्राकृतिक रूप से निर्मित (Naturally Made) मूर्ति द्वारा उनका प्रतिनिधित्व किया जाता है। मंदिर में देवी भगवती के सभी नौ अवतारों के दर्शन कराने की क्षमता एक और विशिष्ट विशेषता है।

यह निवारण प्राप्त करें

यह जल पहले स्वतः उत्पन्न होने वाली नौ मूर्तियों पर छिड़का जाता है और फिर लोगों में वितरित किया जाता है। इसके अपार महत्व के कारण भक्त दूर-दूर से इस जल को इकट्ठा करने आते हैं। यहाँ आने वाले भक्तों के अनुसार, यहाँ पाया जाने वाला जल सभी त्वचा रोगों का उपचार (Treatment of skin diseases) करता है, वाणी संबंधी समस्याओं को दूर करता है और हाथ-पैरों की सूजन को कम करता है। दिलचस्प बात यह है कि देवी माँ का जल हर 10 दिन में एक बार निकाला जाता है। जल निकालने से पहले दिन, समय और तिथि की पुष्टि की जाती है और फिर भक्त एकत्रित होने लगते हैं।

नैनीताल के पाषाण देवी मंदिर कैसे जाएँ

सड़क मार्ग: उत्तराखंड के सभी प्रमुख शहरों से नैनीताल बस या कैब द्वारा आसानी से पहुँचा जा सकता है। मंदिर नैनीताल बस स्टैंड (तल्लीताल) से लगभग 1 किमी दूर है, जहाँ से आप पैदल या रिक्शा किराए पर ले सकते हैं।

रेल मार्ग: नैनीताल के लिए टैक्सियाँ और बसें आसानी से उपलब्ध हैं, और सबसे नज़दीकी रेलवे स्टेशन काठगोदाम रेलवे स्टेशन है, जो लगभग 32 किलोमीटर दूर है।

हवाई मार्ग: आप सबसे नज़दीकी हवाई अड्डे, पंतनगर हवाई अड्डे से नैनीताल के लिए आसानी से कैब बुक कर सकते हैं, जो लगभग 69 मील दूर है।

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